सरकारी नौकरी में
मिलने वाले
नियत वेतन की तरह
मिलता है
रिश्तों में दर्द।
और वार्षिक बोनस की तरह
मिल जाती है
ख़ुशी भी
यदा-कदा।
लेकिन
काॅन्ट्रेक्ट बेस जाॅब
होते हैं रिश्ते।
बहुत कुछ
सहन करना पड़ता है
इनमें!
...और
कब तक चलेंगे
कुछ कह नहीं सकते।
© चिराग़ जैन
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