इसकी टूटी नाव संभालो तुमको कुर्सी की कसम
जो अपने खेमे में है उसकी फाइल दबवा दो
जो विरोध करता हो उसकी कचहरी लगवा दो
इस आदत पर मिट्टी डालो तुमको कुर्सी की कसम
रामदेव के आंदोलन पर लाठीचार्ज कराया
अब पसली टूटी तो नैतिकता का पाठ पढ़ाया
भैया कुछ तो ठीक लगा लो तुमको कुर्सी की कसम
हरखू की रोटी का मुद्दा फिर फिर टल जाता है
ख़बरों में बाबाजी का बुलडोजर चल जाता है
रोटी के भी प्रश्न उठा लो तुमको कुर्सी की कसम
हम चुनाव पर आँख गड़ाकर बैठे घात लगाए
भूख, ग़रीबी, शिक्षा इनका जो हो वो हो जाए
अब ये साफ़-साफ़ कह डालो तुमको कुर्सी की कसम
नफ़रत, गाली, झूठ, सियासी दांव-पेंच और दंगा
इनका भगवा उनका हरिया, घायल हुआ तिरंगा
इन घावों पर लेप लगा लो तुमको कुर्सी की कसम
~चिराग़ जैन
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